दिल्ली। उत्तर प्रदेश के एटा जनपद मुख्यालय स्थित राजकीय इंटर कालेज के प्रांगण में 5 दिसम्बर से 8 दिसम्बर तक सम्पन्न स्व. बृज पाल सिंह स्मृति पुस्तक महोत्सव की अपार सफलता हेतु आयोजक ए आर एम संजीव यादव , संयोजक प्रमुख सहायक जिला विद्यालय निरीक्षक एटा अनूप दुबे एवं आयोजन समिति के समस्त सदस्यो को शत शत बधाई एवं अनंत हार्दिक शुभकामनाएँ देते हुए वरिष्ठ पत्रकार, पर्यावरणविद, राष्ट्रीय पर्यावरण सुरक्षा समिति के अध्यक्ष एवं पुस्तक महोत्सव के संरक्षक ज्ञानेन्द्र रावत ने कहा है कि पुस्तक महोत्सव में इस वर्ष पिछले वर्ष की तुलना में विविध आयोजनों में जहां और विस्तार हुआ, वहीं कार्यक्रमों में आगन्तुकों-सहभागियों में हुयी अपार वृद्धि ने पुस्तक महोत्सव समिति के परिश्रम और नीति-निर्धारण की दूरदर्शिता व वैचित्र्य की विविधता का प्रमाण देकर यह साबित किया कि आने वाले वर्षों में पुस्तक महोत्सव सफलता के और प्रतिमान स्थापित करेगा। इसके साथ ही जनपद की प्रतिष्ठा को उत्तरोत्तर और बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका का भी निर्वहन करेगा।
इस सबके लिए पुस्तक महोत्सव में सहभागिता करने वाले छात्र-छात्राएं, विद्यालयों के प्राचार्य - शिक्षक वृन्द, अभिभावक, प्रकाशक गण, समस्त जिले के प्रशासनिक अधिकारी, महोत्सव को संबल और सहयोग प्रदान करने वाले राजकीय इंटर कालेज एटा का समस्त स्टाफ, पूर्व शिक्षक व छात्र सहित सहयोगी-मित्रगण एवं समस्त बंधु साधुवाद के पात्र हैं जिनका अप्रतिम सहयोग इस पूरे कार्यक्रम का आधार रहा है। मैं पुनः इस आयोजन की अपार सफलता हेतु आयोजन समिति के सभी सदस्यों को हार्दिक बधाई, शुभकामनाएं देता हूं एवं उनके उज्जवल भविष्य हेतु मंगल कामना करता हूं। इस महोत्सव में मैगसैसे से सम्मानित प्रख्यात सामाजिक कार्यकर्ता डा. संदीप पाण्डेय, विख्यात जल संरक्षण कार्यकर्ता पद्मश्री से सम्मानित राजा लक्ष्मण सिंह एवं जाने माने गांधीवादी रमेश भाई, जिलाधिकारी एटा प्रेमरंजन सिंह, सहायक शिक्षा निदेशक पाशंकर वर्मा, सदस्य विधान परिषद् मानवेन्द्र सिंह एवं आशु यादव, एडीजीपी सी आर पी एफ अंशुमान यादव,जिला विद्यालय निरीक्षक एटा डा. इंद्रजीत, फुटबाल संघ के अध्यक्ष देवेंद्र सिंह यादव बंटी, पंचायत राज अधिकारी नरेंद्र सिंह सहित देश की प्रतिष्ठित प्रतिभाओं ने सहभागिता कर छात्र-छात्राओं का उत्साहवर्धन किया, मैं उन सभी का आभार व्यक्त करता हूं।
मैं बीते महीनों से अपनी अस्वस्थता के कारण इस पुनीत यज्ञ का साक्षी न बन सका, इसका आजीवन दुख रहेगा। इसके लिए आयोजन समिति से क्षमा प्रार्थी हूं। आशा है आयोजन समिति के सदस्य गण इस हेतु क्षमा करेंगे।